Sunday, September 8, 2024
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इंडिया-डी दूसरी पारी में 236 रन पर ऑल-आउट:मानव सुथार को 7 विकेट, लंच तक इंडिया-ए का स्कोर 208/7

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दलीप ट्रॉफी के तीसरे दिन शनिवार को इंडिया-ए ने इंडिया-बी के खिलाफ लंच तक अपनी पहली पारी में 7 विकेट के नुकसान पर 210 रन बना लिए हैं। फिलहाल, तनुश कोटियान (16) और आकाश दीप (5) की जोड़ी नाबाद है। इंडिया-ए की टीम अभी पहली पारी में 113 रन से पिछड़ रही है। एक अन्य मुकाबले में इंडिया-डी के खिलाफ चौथी पारी में 233 रनों के लक्ष्य का पीछा करने उतरी इंडिया-सी की टीम ने लंच तक 2 विकेट के नुकसान पर 110 रन बना लिए हैं। फिलहाल,आर्यन जुयाल (24) और रजत पाटिदार (12) नाबाद हैं। इंडिया-सी को जीत के लिए 124 रन की जरुरत है। इंडिया-ए ने पहले सेशन में 5 विकेट गंवाए
तीसरे दिन 134/2 से आगे खेलने उतरी इंडिया-ए की टीम ने पहले सेशन में अपने 5 बल्लेबाजों को गवां दिया। इस दौरान दूसरे दिन अर्धशतकीय साझेदारी निभाने वाली रियान पराग (30) और केएल राहुल (37) की जोड़ी भी सेट होने के बाद पवेलियन लौट गई। जबकि शिवम दुबे (20) भी बड़ी पारी नहीं खेल सके। लंच तक इंडिया-ए का स्कोर 208/7 है, टीम फिलहाल इंडिया-बी की पहली पारी के स्कोर से 113 रन पीछे है। इंडिया-बी की ओर से नवदीप सैनी 3 विकेट और मुकेश कुमार 2 विकेट लिए हैं। इंडिया-डी दूसरी पारी में 236 रन पर ऑल-आउट
दूसरे दिन कप्तान श्रेयस अय्यर (54) और देवदत्त पड्डिकल (56) की अर्धशतकीय पारी की बदौलत 200 रनों का आंकड़ा पार करने वाले इंडिया-डी की टीम तीसरे दिन के पहले सेशन में 236 रनों पर सिमट गई। तीसरे दिन की शुरुआत में टीम के अंतिम तीन बल्लेबाज महज 30 रन जोड़कर पवेलियन लौट गए। इस दौरान अक्षर पटेल (28) ने निचले क्रम में एक अच्छी पारी खेली। जबकि दूसरे दिन 5 विकेट लेने वाले मानव सुथार ने तीसरे दिन दो और बल्लेबाजों को पवेलियन का रास्ता दिखाया। उन्होंने इस पारी में 49 रन देकर 7 विकेट हासिल किए। अब मुकाबले की चौथी पारी में इंडिया-सी के सामने 233 रन का लक्ष्य है। दूसरे दिन का खेल….. पराग-राहुल ने नाबाद अर्धशतकीय साझेदारी इंडिया-बी की पहली पारी के जवाब में बल्लेबाजी करने उतरी इंडिया-ए को कप्तान शुभमन गिल (25) और मयंक अग्रवाल (36) की ओपनिंग जोड़ी ने अच्छी शुरुआत दिलाई। दोनों बल्लेबाजों ने 57 रनों की अर्धशतकीय साझेदारी निभाई। हालांकि, नवदीप सैनी ने एक के बाद एक दोनों सेट बल्लेबाजों को पवेलियन भेजकर इंडिया-ए को दोहरा झटका दिया। इस दोहरे झटके के बाद रियान पराग और केएल राहुल की जोड़ी ने इंडिया-ए की पारी संभाली। दोनों बल्लेबाजों ने तीसरे विकेट के लिए अर्धशतकीय साझेदारी निभाकर टीम के स्कोर को सौ रनों के पार पहुंचाया। दूसरे दिन के अंत तक दोनों बल्लेबाजों ने 68 रन की नाबाद साझेदारी की। श्रेयस-पड्डिकल ने लगाया अर्धशतक दूसरी ओर, पहली पारी में 4 रन से पिछड़ने के बाद दूसरी पारी में बल्लेबाजी करने उतरी इंडिया-डी की शुरुआत एक बार फिर से खराब रही। अर्थव तायड़े (15) और यश दुबे (5) की ओपनिंग जोड़ी एक बार फिर से फेल साबित हुई। लेकिन कप्तान श्रेयस अय्यर (54) और देवदत्त पड्डिकल (56) ने अर्धशतकीय पारियां खेलकर इंडिया-डी की पारी संभाली। इन दोनों बल्लेबाजों के पवेलियन लौटने के बाद रिकी भुई ने भी 44 रन की अच्छी पारी खेली। इस दौरान युवा स्पिनर मानव सुथार ने इंडिया-डी के अन्य बल्लेबाजों को खूब परेशान किया। उन्होंने महज 30 रन देकर 5 बल्लेबाजों को पवेलियन भेजा। इंडिया-बी अपनी पहली पारी में 321 रन पर ऑलआउट इससे पहले इंडिया-बी अपनी पहली पारी में 321 रन पर ऑलआउट हो गई। टीम की ओर मुशीर खान ने 181 रन की पारी खेली। 373 गेंदों में मुशीर ने 16 चौके और पांच छक्के लगाए। वहीं इंडिया-सी 168 रन पर ऑलआउट हो गई। अनंतपुर में खेले जा रहे मुकाबले में ऋतुराज गायकवाड की कप्तानी वाली टीम इंडिया सी को पहली पारी में 4 रन की बढ़त मिली। मुशीर-नवदीप के बीच आठवें विकेट के लिए 205 रन की साझेदारी हुई इंडिया ए और इंडिया बी के बीच बेंगलुरु में खेले जा रहे मैच में ए की ओर से मुशीर खान के अलावा नवदीप सैनी ने 56 रन की पारी खेली। दोनों के बीच आठवें विकेट के लिए 403 गेंदों पर 205 रन की साझेदारी हुई। इन दोनों खिलाड़ियों के अलावा पहली पारी में ओपनर यशस्वी जायसवाल 30 और कप्तान ईश्वरन 13 रन बनाकर आउट हुए। सरफराज खान 9, ऋषभ पंत 7 रन पर आउट हुए। नीतीश कुमार रेड्‌डी और वॉशिंगटन सुंदर खाता नहीं खोल सके। इंडिया ए के लिए आकाश दीप ने 4 विकेट झटके। खलील अहमद और आवेश खान को 2-2 विकेट मिले। कुलदीप यादव ने एक विकेट लिया। वहीं वॉशिंगटन सुंदर रन आउट हुए। बाबा इंद्रजीत ने 149 बॉल पर 72 रन बनाए ​​​
इंडिया सी की ओर से बाबा इंद्रजीत ने 149 बॉल पर 72 रनों की अर्धशतकीय पारी खेली। विकेटकीपर बल्लेबाज अभिषेक पोरेल ने 34 रन का योगदान दिया। शेष बल्लेबाज खास प्रदर्शन नहीं कर सके। श्रेयस अय्यर की कप्तानी वाली इंडिया डी की ओर हर्षित राणा ने 4 विकेट झटके। अक्षर पटेल और सारांश जैन को 2-2 विकेट मिले। 1. इंडिया ए Vs इंडिया बी: पहले सेशन में खाली हाथ रहे गेंदबाज
दूसरे दिन इंडिया बी ने 202/7 के स्कोर से खेलना शुरू किया। शतकवीर मुशीर खान ने 105 और नवदीप सैनी ने 29 रन से अपनी-अपनी पारी को आगे बढ़ाया। यहां मुशीर ने तेजी से रन बनाते हुए 150 रन का आंकड़ा पार किया, तो नवदीप ने संयम से पारी को आगे बढ़ाया। वे भी फिफ्टी के करीब पहुंच गए। इस सेशन के दौरान इंडिया ए के गेंदबाज विकेट के लिए तरश गए। 2. इंडिया सी Vs इंडिया डी: पोरेल के आउट होते ही बिखरी टीम
इंडिया सी ने पहले दिन 94 पर 4 विकेट गंवा दिए थे। ऐसे में बाबा इंद्रजीत और अभिषेक पोरेल ने पारी आगे बढ़ाई, लेकिन अभिषेक 34 रन बनाकर आउट हो गए। उन्हें हर्षित राणा ने LBW कर दिया। पोरेल के आउट होने के बाद इंद्रजीत को किसी का साथ नहीं मिला। वे एक छोर से रन बनाते रहे और दूसरे छोर से विकेट गिरते रहे। निचले क्रम में मानव सुथार ने 1, रितिक शोकीन ने 5, विजयकुमार वैशाख ने 1 और अंशुल कंबोज ने 2 रन बनाए। पहले दिन का खेल… मुशीर खान ने शतक जमाया, सैनी के साथ सेंचुरी पार्टनरशिप
मुशीर खान ने मुकाबले के पहले दिन शतक पूरा किया। वे 105 रन पर नाबाद रहे थे। वहीं, नवदीप सैनी 29 रन पर नाबाद थे। टीम बी ने 7 विकेट खेकर 202 रन बनाए थे। ओपनर यशस्वी जायसवाल 30 और कप्तान ईश्वरन 13 रन बनाकर आउट हुए। सरफराज खान 9, ऋषभ पंत 7 रन पर आउट हुए। नीतीश कुमार रेड्‌डी और वॉशिंगटन सुंदर खाता नहीं खोल सके। इंडिया ए के खलील अहमद, आकाश दीप और आवेश खान को 2-2 विकेट मिले। वॉशिंगटन सुंदर रन आउट हुए। 2. इंडिया सी 164 रन पर ऑलआउट, अक्षर की फिफ्टी
श्रेयस अय्यर की कप्तानी वाली इंडिया डी 164 रन पर ऑलआउट हुई। अक्षर पटेल 86 रन का योगदान दिया। शेष बल्लेबाज खास प्रदर्शन नहीं कर सके। पहले दिन इंडिया सी ने 4 विकेट खोकर 94 रन बनाए थे। इंडिया डी ने 4 रन के टीम स्कोर पर पहला विकेट गंवाया। यहां ओपनर अथर्व तायड़े 4 रन बनाकर आउट हुए। उन्हें अंशुल कंबोज ने विजयकुमार वैशाख के हाथों कैच कराया। तायड़े के पीछे यश दुबे भी 10 रन बनाकर पवेलियन लौट गए। कप्तान श्रेयस अय्यर भी 9 रन ही बना सके। देवदत्त पडिक्कल तो खाता भी नहीं खोल सके। टीम के टॉप-6 में से 4 बैटर्स दहाई का आंकड़ा पार नहीं कर सके। 76 पर 8 विकेट गंवाने के बाद अक्षर पटेल ने पारी संभाली और 86 रन की पारी खेलकर स्कोर 150 पार पहुंचाया। इंडिया सी की ओर से विजयकुमार वैशाख 3 विकेट झटके। अंशुल कंबोज और हिमांशु चौहान ने 2-2 विकेट लिए। पहले दिन की पूरी खबर पढ़ने के लिए क्लिक करिए टीम इंडिया में जगह तलाश रहे कई खिलाड़ी
इस टूर्नामेंट में भारत के कई स्टार क्रिकेटर्स हिस्सा ले रहे हैं। इनमें ऋषभ पंत, ऋतुराज गायकवाड, केएल राहुल, शुभमन गिल, श्रेयस अय्यर, शिवम दुबे और मयंक अग्रवाल जैसे स्टार प्लेयर्स शामिल हैं। वहीं, ईशान किशन, सूर्यकुमार यादव और प्रसिद्ध कृष्णा पहले राउंड में हिस्सा नहीं ले रहे हैं। BCCI ने बुधवार को बताया कि ईशान यादव और सूर्यकुमार यादव बूची बाबू टूर्नामेंट में चोटिल हुए हैं, जबकि कृष्णा पूरी तरह रिकवर नहीं कर पाए हैं। इस टूर्नामेंट के जरिए कई खिलाड़ी टीम इंडिया की राह तलाश रहे हैं। भारतीय टीम को 19 सितंबर से बांग्लादेश के खिलाफ टेस्ट सीरीज खेलनी है। दलीप ट्रॉफी का नया फॉर्मेट
दलीप ट्रॉफी इस सीजन से नए फॉर्मेट में खेली जा रही है। यह पहले जोनल फॉर्मेट में होती थी। अब खिलाड़ियों को चार टीमों में बांटा गया है। वेस्ट जोन ने सबसे ज्यादा बार दलीप ट्रॉफी जीती
नवानगर के कुमार श्री दलीप सिंह जी के नाम पर खेली जा रही दलीप ट्रॉफी का पहला एडिशन 1961-62 में खेला गया था। पहले टूर्नामेंट में, वेस्ट जोन ने फाइनल में साउथ जोन पर 10 विकेट से जीत हासिल की। इसके अलावा, वेस्ट जोन 19 ट्रॉफियों के साथ प्रतियोगिता की सबसे सफल टीम है। आज तक, दलीप ट्रॉफी के 61 एडिशन खेले जा चुके हैं।

मार्क वुड चोट की वजह से पूरे साल नहीं खेलेंगे:2025 में वापसी करेंगे; श्रीलंका के खिलाफ पहले टेस्ट में हुए थे इंजर्ड

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इंग्लैंड के तेज गेंदबाज मार्क वुड कोहनी की चोट की वजह से इस साल क्रिकेट नहीं खेल पाएंगे। वुड श्रीलंका के खिलाफ चल रही टेस्ट सीरीज के पहले मैच में चोटिल हुए थे। अब उनके साल 2025 में वापसी की संभावना है। इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड ने यह जानकारी शुक्रवार को दी। सीरीज के पहले टेस्ट के तीसरे दिन चोटिल होकर मैदान से बाहर चले गए थे। इसके बाद वह मैच में दोबारा गेंदबाजी करने नहीं उतरे। सीरीज के बचे दो मैचों के लिए वुड की जगह लीसेस्टरशायर के युवा तेज गेंदबाज जोश हल को टीम में शामिल किया गया था। पहले टेस्ट के तीसरे दिन चोटिल होकर मैदान से बाहर चले गए थे
मार्क वुड सीरीज के पहले टेस्ट के तीसरे दिन चोटिल होकर मैदान से बाहर चले गए थे। इसके बाद वह मैच में दोबारा गेंदबाजी करने नहीं उतरे। उन्हें राइट लेग में थाई इंजरी हुई है। इसलिए वह टेस्ट सीरीज से बाहर हो गए हैं। इस साल इंग्‍लैंड की सीरीज
इंग्‍लैंड को अक्‍टूबर में पाकिस्‍तान के खिलाफ और दिसंबर में न्यूजीलैंड के खिलाफ टेस्‍ट सीरीज खेलनी है। वुड अब यह सीरीज नहीं खेल पाएंगे। अगले साल की शुरुआत में इंग्‍लैंड टीम भारत का दौरा करेगी। तब तक मार्क वुड के फिट होने की संभावना है। 2025 में चैंपियंस ट्रॉफी भी खेली जानी है। सीरीज में 2-0 से आगे इंग्लैंड
इंग्लैंड और श्रीलंका के बीच खेली जा रही तीन मैचों की टेस्ट सीरीज में इंग्लिश टीम 2-0 से आगे हैं। पहला मैच मैनचेस्टर में खेला गया था, जो इंग्लैंड ने 5 विकेट से जीता था। सीरीज का दूसरा मुकाबला लॉर्ड्स में खेला गया था, यह मैच इंग्लैंड 190 रन से जीता था। स्पोर्ट्स की अन्य खबरें भी पढ़ें… US ओपन…मेंस फाइनल सिनर vs फ्रिट्ज:विमेंस सिंगल्स के खिताबी मुकाबले में पेगुला का सामना सबालेंका से; दोनों कैटेगरी में मिलेगा नया चैंपियन​​​​​​​ ​​​​​​​US ओपन 2024 के मेंस और विमेंस सिंगल्स के फाइनलिस्ट तय हो गए हैं। मेंस सिंगल्स में वर्ल्ड नंबर-1 इटली के जैनिक सिनर का सामना खिताबी मुकाबले में रविवार को अमेरिका के टेलर फ्रिट्ज से होगा। वहीं विमेंस सिंगल्स का फाइनल अमेरिका की जेसिका पेगुला और बेलारूस की अरिना सबालेंका के बीच खेला जाएगा। दोनों कैटेगरी में नया चैंपियन मिलेगा। इस चारों खिलाड़ियों ने अब तक US ओपन का टाइटल नहीं जीता है।​​​​​​​ पढ़ें पूरी खबर… सुआरेज ने इंटरनेशनल फुटबॉल को कहा अलविदा:पराग्वे के खिलाफ खेला आखिरी इंटरनेशनल मैच; वर्ल्डकप में चेलिनी को काटने पर लगा था बैन​​​​​​​ उरुग्वे के स्टार स्ट्राइकर लुइस सुआरेज ने इंटरनेशनल फुटबॉल से संन्यास ले लिया है। उन्होंने शुक्रवार, 6 सितंबर को पराग्वे के खिलाफ अपना आखिरी इंटरनेशनल मैच खेला। वे क्लब फुटबॉल खेलते रहेंगे। सुआरेज अमेरिकी क्लब इंटर मियामी से जुड़े हैं।​​​​​​​ पढ़ें पूरी खबर…

पेरिस पैरालिंपिक के मेडलिस्ट भारत लौटें:दिल्ली एयरपोर्ट पर ढोल-नगाड़ों के साथ स्वागत, प्लेयर बोले- अगली बार और मेडल जीतेंगे

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पेरिस पैरालिंपिक 2024 में पहला गोल्ड दिलाने वाली अवनी लेखरा, ब्रॉन्ज मेडलिस्ट मोना अग्रवाल और शूटर मनीष नरवाल समेत कई प्लेयर शनिवार को भारत लौटे। दिल्ली एयरपोर्ट पर उनका जमकर स्वागत किया गया। फैंस ने पैरा एथलीट्स के पहुंचते ही ढोल-नगाड़े बजाए और उन्हें मालाएं पहनाईं। 2 बार की गोल्ड मेडलिस्ट शूटर अवनी लेखरा ने एयरपोर्ट पर कहा- पेरिस पैरालिंपिक की जर्नी अच्छी थी, इस बार हमने कई मेडल जीते। शूटर मनीष बोले- इतना प्यार देने के लिए सभी को धन्यवाद
भारतीय पैरालिंपियन शूटर मनीष नरवाल ने 10 मीटर एयर पिस्टल में सिल्वर मेडल जीता था। दिल्ली एयरपोर्ट पर फैंस ने उन्हें कंधे पर उठा लिया। मनीष ने कहा- इतना प्यार और सपोर्ट देने के लिए सभी का धन्यवाद। तीरंदाज राकेश बोले- हम और अच्छा परफॉर्म करेंगे
पैरा आर्चर राकेश कुमार ने पेरिस पैरालिंपिक के आर्चरी मिक्स्ड डबल्स में ब्रॉन्ज मेडल जीता है। भारत लौटने पर फैंस ने उन्हें फूल मालाएं पहनाई। राकेश ने कहा- मेरी जीत का क्रेडिट मेरे कोच को जाता है, हम साथ मिलकर कड़ी मेहनत करके और अच्छा परफॉर्म करेंगे। शूटर मोना बोलीं- मैं बहुत अच्छा महसूस कर रही हूं
पेरिस पैरालिंपिक के 10 मीटर एयर राइफल में ब्रॉन्ज मेडल जीतने वाली मोना अग्रवाल का एयरपोर्ट पर शानदार स्वागत किया गया। मोना ने कहा- मैं बहुत अच्छा महसूस कर रही हूं कि मुझे इतना प्यार मिल रहा है… मेरी पैरालिंपिक यात्रा बहुत अच्छी रही, क्योंकि यह मेरा पहला पैरालिंपिक था। थ्रोअर प्रणव बोले- मेरी मेहनत रंग लाई
पेरिस पैरालिंपिक के क्लब थ्रो में भारत ने 2 मेडल जीते। धर्मबीर ने गोल्ड तो प्रणव सूरमा ने सिल्वर मेडल जीता। एयरपोर्ट में स्वागत को लेकर प्रणव सूरमा ने कहा- मैंने जो मेहनत की थी वो रंग लाई, इसलिए मैं बहुत खुश हूं। पेरिस पैरालिंपिक में भारत के अब तक के मेडलिस्ट पैरालिंपिक 2024 में भारत ने अब तक 27 मेडल जीते

पेरिस पैरालिंपिक का आज 10वां दिन:भारत 5 मेडल इवेंट्स में हिस्सा लेगा; अब तक 27 मेडल जीते

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पेरिस पैरालिंपिक गेम्स का आज 10वां दिन है। भारत 5 मेडल इवेंट्स में हिस्सा लेगा। वहीं 2 इवेंट का सेमीफाइनल खेलेगा। भारत ने अब तक इस पैरालिंपिक में 27 मेडल जीत लिए हैं। भारत मेडल टैली में 17वें नंबर पर पहुंच गया है। भारतीय खिलाड़ियों ने अब तक 6 गोल्ड, 9 सिल्वर और 12 ब्रॉन्ज मेडल जीते हैं। यह देश का पैरालिंपिक में ऑलटाइम बेस्ट परफॉर्मेंस है। इससे पहले टोक्यो पैरालिंपिक में भारतीय खिलाड़ियों ने 5 गोल्ड समेत 19 मेडल जीते थे। भारत का 10वें दिन का शेड्यूल 9वें दिन के हाईलाइट्स…
शुक्रवार को भारत ने पेरिस गेम्स में 27वां मेडल जीता। इस दिन दो मेडल आए, जिसमें एक गोल्ड और एक ब्रॉन्ज शामिल रहा। पहले मेंस हाई जंप T-64 के फाइनल में प्रवीण कुमार ने गोल्ड मेडल जीता। उन्होंने एशियन रिकॉर्ड बनाते हुए 2.08 मीटर का जंप किया। इस पैरालिंपिक गेम्स में ये भारत का छठा गोल्ड है। वहीं शॉटपुट F-57 के फाइनल में होकातो होतोजे सेमा ने ब्रॉन्ज मेडल जीता। उन्होंने 14.65 मीटर का पर्सनल बेस्ट थ्रो किया। इसी इवेंट में भारत के सोमन राणा 5वें स्थान पर रहे। उन्होंने 14.07 का स्कोर किया। अब तक के मेडलिस्ट स्पोर्ट्स की यह खबर भी पढ़ें… US ओपन…मेंस फाइनल सिनर vs फ्रिट्ज:विमेंस सिंगल्स के खिताबी मुकाबले में पेगुला का सामना सबालेंका से; दोनों कैटेगरी में मिलेगा नया चैंपियन ​​​​​​​US ओपन 2024 के मेंस और विमेंस सिंगल्स के फाइनलिस्ट तय हो गए हैं। मेंस सिंगल्स में वर्ल्ड नंबर-1 इटली के जैनिक सिनर का सामना खिताबी मुकाबले में रविवार को अमेरिका के टेलर फ्रिट्ज से होगा। वहीं विमेंस सिंगल्स का फाइनल अमेरिका की जेसिका पेगुला और बेलारूस की अरिना सबालेंका के बीच खेला जाएगा। दोनों कैटेगरी में नया चैंपियन मिलेगा। इस चारों खिलाड़ियों ने अब तक US ओपन का टाइटल नहीं जीता है।​​​​​​​ पढ़ें पूरी खबर…

US ओपन…मेंस फाइनल सिनर vs फ्रिट्ज:विमेंस सिंगल्स के खिताबी मुकाबले में पेगुला का सामना सबालेंका से; दोनों कैटेगरी में मिलेगा नया चैंपियन

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US ओपन 2024 के मेंस और विमेंस सिंगल्स के फाइनलिस्ट तय हो गए हैं। मेंस सिंगल्स में वर्ल्ड नंबर-1 इटली के जैनिक सिनर का सामना खिताबी मुकाबले में रविवार को अमेरिका के टेलर फ्रिट्ज से होगा। वहीं विमेंस सिंगल्स का फाइनल अमेरिका की जेसिका पेगुला और बेलारूस की अरिना सबालेंका के बीच खेला जाएगा। दोनों कैटेगरी में नया चैंपियन मिलेगा। इस चारों खिलाड़ियों ने अब तक US ओपन का टाइटल नहीं जीता है। शनिवार को खेले गए विमेंस कैटेगरी के सेमीफाइनल में पेगुला ने चेक रिपब्लिक की करोलिना मुचोवा और सबालेंका ने अमेरिकी टेनिस स्टार एमा नवारो को हराया। मेंस सिंगल्स फाइनल : फ्रिट्ज vs सिनर
मेंस सिंगल्स का फाइनल फ्रिट्ज और सिनर के बीच खेला जाएगा। फ्रिट्ज ने सेमीफाइनल में अपने पुराने दोस्त और हमवतन फ्रांसिस टियाफो को 4-6, 7-5, 4-6, 6-4, 6-1 से हराया। वहीं सिनर ने ड्रैपर को 7-5, 7-6, 6-2 से मात दी। विमेंस सिंगल्स फाइनल : पेगुला vs सबालेंका
पेगुला ने पहला सेट गंवाने के बाद शानदार वापसी करते हुए US ओपन के फाइनल में जगह बनाई। विमेंस सिंगल्स के फाइनल में उनका सामना सबालेंका से होगा। दोनों खिलाड़ियों के पास पहली बार इस ग्रैंड स्लैम का विमेंस सिंगल्स का खिताब जीतने का मौका है। पेगुला ने सेमीफाइनल में मुचोवा को 1-6, 6-4, 6-2 से हराया। वहीं सबालेंका ने नवारो को 6-3, 7-6 से मात दी। दूसरे राउंड से बाहर हो गए थे वर्ल्ड नंबर-3 अल्काराज
स्पेन के कार्लोस अल्काराज दूसरे राउंड से हारकर बाहर हो गए थे। वर्ल्ड नंबर-3 अल्काराज को वर्ल्ड नंबर-74 नंबर पर काबिज नीदरलैंड के बोटिक वान डी जैंडस्कल्प ने 6-1, 7-5, 6-4 से हराया। अल्काराज ने इस साल विंबलडन के फाइनल में नोवाक जोकोविच को हराया था। अल्काराज ने फ्रेंच ओपन का खिताब भी जीता। उलटफेर का शिकार हुए थे जोकोविच
डिफेंडिंग चैंपियन सर्बिया के नोवाक जोकोविच इस ग्रैंड स्लैम के तीसरे राउंड में उलटफेर का शिकार हुए थे। उन्हें 28वीं सीड ऑस्ट्रेलिया के अलेक्सी पोपिरिन ने 6-4, 6-4, 2-6, 6-4 से हराया थे। जोकोविच ने 2023 में रूस के डेनियल मेदवेदेव को हराकर ये टूर्नामेंट जीता था। 25वें ग्रैंड स्लैम से चूके जोकोविच
US ओपन में जोकोविच 25 ग्रैंड स्लैम जीतने वाले पहले खिलाड़ी बनने का प्रयास कर रहे थे। वे 24 ग्रैंड स्लैम के साथ ऑस्ट्रेलिया की मार्गरेट कोर्ट की बराबरी पर हैं। कोर्ट ने भी 24 ग्रैंड स्लैम जीते हैं। विमेंस वर्ल्ड नंबर-1 इगा को पेगुला ने हराया था
विमेंस कैटेगरी के क्वार्टर फाइनल में पोलैंड की इगा स्वियातेक को छठी सीड अमेरिका की जेसिका पेगुला ने हराया थ। वर्ल्ड नंबर-1 इगा को एक घंटे 28 मिनट तक चले क्वार्टर फाइनल मुकाबले में 6-2, 6-4 से हरा मिली थी।

अब वेब केम से कैंडिडेट्स की लाइव फोटो होगी कैप्चर:RPSC ने OTR प्रोसेस में किया बदलाव, करक्शन का एक बार मिलेगा मौका

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राजस्थान लोक सेवा आयोग की ओर से एग्जाम में जालसाजी व फोटों टेंपरिंग कर आवेदन करने वाले कैंडिडेट्स पर लगाम के लिए वन टाइम रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया में बड़ा बदलाव किया है। अब वन टाइम रजिस्ट्रेशन के दौरान अभ्यर्थी को वेब केम के माध्यम से लाइव फोटो भी कैप्चर करनी होगी। जिन अभ्यर्थियों द्वारा पूर्व में वन टाइम रजिस्ट्रेशन में लाइव फोटो कैप्चर करवा रखी है, वे अभ्यर्थी भी पूर्व की फोटो अस्पष्ट होने की स्थिति में ओटीआर में लाइव फोटो कैप्चर करवा सकते हैं। उनके लिए ये अवसर एक बार ही उपलब्ध होगा। आयोग के सचिव रामनिवास मेहता ने बताया-आयोग की इस पहल से डमी अभ्यर्थियों पर लगाम के साथ ही आवेदन के दौरान गलत फोटों अपलोड होने का बहाना देने वाले अभ्यर्थियों पर भी अंकुश लगेगा। संशय की स्थिति में आयोग द्वारा परीक्षा दौरान की गई वीडियोग्राफी में उपस्थित अभ्यर्थी का मिलान ओटीआर में कैप्चर की गई फोटो से किया जा सकेगा। आयोग इस हेतु आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का भी इस्तेमाल करेगा। पहले ये था…. अब ये होगा… लाइव फोटो कैप्चर का ये प्रोसेस इन बातों का रखना होगा ध्यान वैरीफिकेशन के बाद में फाइनल कैंडिडेट्स खुद करेंगे प्रमाणित ओटीपी के बाद फाइनल सब्मिट

सुआरेज ने इंटरनेशनल फुटबॉल को कहा अलविदा:पराग्वे के खिलाफ खेला आखिरी इंटरनेशनल मैच; वर्ल्डकप में चेलिनी को काटने पर लगा था बैन

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उरुग्वे के स्टार स्ट्राइकर लुइस सुआरेज ने इंटरनेशनल फुटबॉल से संन्यास ले लिया है। उन्होंने शुक्रवार, 6 सितंबर को पराग्वे के खिलाफ अपना आखिरी इंटरनेशनल मैच खेला। वे क्लब फुटबॉल खेलते रहेंगे। सुआरेज अमेरिकी क्लब इंटर मियामी से जुड़े हैं। हालांकि सुआरेज का इंटरनेशनल फेयरवेल कुछ खास नहीं रहा। वर्ल्ड कप क्वालिफायर का उरुग्वे और पराग्वे का यह मुकाबला 0-0 से ड्रॉ रहा। सुआरेज के आखिरी इंटरनेशनल मैच के दौरान उनका परिवार भी स्टेडियम में मौजूदा रहा। वे इस दौरान इमोशनल नजर आए। सुआरेज का विवादों से पुराना नाता रहा है। इस कारण उन्हें कॉन्ट्रोवर्सी किंग भी कहा जाता है। 37 साल के फुटबॉलर ने इसी साल 2 सितंबर को सेंटेनारियो स्टेडियम में मीडिया से कहा था- ‘यह कहते हुए दुख हो रहा है, लेकिन शुक्रवार को होने वाला मैच मेरा अपने देश की तरफ से आखिरी मैच होगा।’ सुआरेज से जुड़े 4 बड़े विवाद… 1. 2010 : वर्ल्ड कप मैच में गोल रोकने के लिए हैंड किया घाना और उरुग्वे के बीच 2010 वर्ल्ड कप का क्वार्टर फाइनल मुकाबला चल रहा था। मैच के अंतिम क्षणों में घाना को विनिंग गोल से रोकने के लिए सुआरेज ने गोल लाइन पर जाकर गेंद को हाथ से रोक लिया था। इस हैंड के कारण उन्हें रेड कार्ड दिखाया गया। इससे घाना के असामोह पेनल्टी से चूक गए थे और उरुग्वे ने पेनल्टी शूटआउट में मैच जीतकर सेमीफाइनल में प्रवेश किया था। 2. EPL मैच में रेसिज्म का आरोप, अफ्रीकी खिलाड़ी पर कमेंट किया 2011 के इंग्लिश प्रीमियर लीग सीजन में सुआरेज पर रेसिज्म के आरोप लगे। उन्होंने मुकाबले के दौरान मैनचेस्टर यूनाइटेड के अफ्रीकी खिलाड़ी पैट्रिक एब्रा पर नस्लवादी कमेंट किया था। बाद में उन पर 40 हजार पाउंड (करीब 44 लाख रुपए) का जुर्मना लगा और वे 8 मैच के लिए बैन भी किए गए। 3. इटली के जॉर्जियो चेलिनी को काटा, 100 करोड़ का नुकसान 2014 के फीफा वर्ल्ड कप में सुआरेज ने मैच के दौरान इटली के जॉर्जियो चेलिनी को दांत से काट लिया था। उन पर 6 महीने का प्रतिबंध भी लगा था। इस कॉन्ट्रोवर्सी के बाद इंग्लिश प्रीमियर क्लब लिवरपूल से उनका ट्रांसफर स्पेन के बार्सिलोना में हो गया। इस ट्रांसफर के लिए उन्हें 75 मिलियन पाउंड (लगभग 754 करोड़ रुपए) मिलने थे, लेकिन घटना के बाद 10 मिलियन पाउंड (लगभग 100 करोड़ रुपए) कम दिए गए। इससे सुआरेज को 100 करोड़ रुपए से अधिक का नुकसान हुआ। 4. EPL में चेल्सी के खिलाड़ी को काटा सुआरेज ने 21 अप्रैल 2013 को इंग्लिश प्रीमियर लीग मैच के दौरान लीवरपूल से खेलते हुए चेल्सी के ब्रानिस्लाव इवानोविच के हाथ में काट लिया था। इस हरकत के बाद सुआरेज पर 10 मैच का प्रतिबंध लगा था। यह मैच 2-2 से ड्रॉ रहा। 142 मैचों में 69 गोल दागे, 2007 में डेब्यू किया था लिवरपूल और बार्सिलोना से खेल चुके इस 37 साल के खिलाड़ी ने अपने देश ओर से 142 मैच में 69 गोल किए। यह उरुग्वे की तरफ से रिकॉर्ड है। उन्होंने उरुग्वे से 4 वर्ल्ड कप और 5 कोपा अमेरिका टूर्नामेंट में हिस्सा लिया। सुआरेज ने 2007 में इंटरनेशनल फुटबॉल में डेब्यू किया था। उस मैच को उरुग्वे ने कोलंबिया पर 3-1 की जीत हासिल की थी। स्टेडियम जाने पर भी बैन लगा सुआरेज कई बार विपक्षी टीम के खिलाड़ी को दांत से काट चुके हैं। फीफा ने उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करते हुए उन्हें बैन भी किया। उन पर किसी तरह के फुटबॉल कार्यक्रमों में हिस्सा लेने, अभ्यास करने और यहां तक कि स्टेडियम में प्रवेश करने तक पर रोक लगा दी गई।

असिस्टेंट प्रोफेसर एग्जाम कल से, हर कैंडिडेट्स की वीडियोग्राफी होगी:19 सितम्बर तक होंगे, अजमेर-जयपुर में बनाए सेंटर; AI टूल का भी होगा इस्तेमाल

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राजस्थान लोक सेवा आयोग की ओर से सहायक आचार्य (संस्कृत शिक्षा विभाग) प्रतियोगी परीक्षा-2024 का आयोजन कल यानी 8 से 19 सितंबर 2024 तक किया जाएगा। इस परीक्षा से सुरक्षा इंतजामों को और मजबूत करते हुए परीक्षा के लिए निर्धारित जगह पर बैठे हुए हर अभ्यर्थी की वीडियोग्राफी करवाने का निर्णय आयोग ने लिया है। अब अभ्यर्थियों को परीक्षा केंद्र में प्रवेश के लिए निर्धारित किए गए समय के बाद 10 मिनट के भीतर ही परीक्षा कक्ष में अपने स्थान को ग्रहण करना होगा। 10 मिनट के बाद पूरे परीक्षा केंद्र में हर कक्ष में आवंटित स्थान पर बैठे हुए प्रत्येक अभ्यर्थी एवं अनुपस्थित रहे अभ्यर्थियों के रिक्त स्थानों की रोल नंबर के क्रमानुसार वीडियो रिकॉर्डिंग की जाएगी। यह रिकॉर्डिंग बाद में मूल अभ्यर्थी की पहचान सुनिश्चित करने के लिए उपयोग में ली जाएगी। आयोग इसके लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस टूल का भी इस्तेमाल करेगा। सामान्य ज्ञानः प्रश्न पत्र-तृतीय की परीक्षा का आयोजन 8 सितंबर 2024 को प्रातः 11 से 1 बजे तक अजमेर एवं जयपुर जिला मुख्यालय पर किया जाएगा। ऐच्छिक विषयों के प्रश्न पत्र – प्रथम एवं द्वितीय की परीक्षाओं का आयोजन प्रातः 9 से 12 तथा दोपहर 2.30 से 5.30 बजे तक किया जाएगा। इनमें हिन्दी विषय की परीक्षा का आयोजन अजमेर एवं जयपुर जिला मुख्यालय दोनों पर किया जाएगा। शेष विषयों की परीक्षाएं अजमेर जिला मुख्यालय पर ही आयोजित की जाएगी। आयोग के मुख्य परीक्षा नियंत्रक आशुतोष गुप्ता ने बताया- अभ्यर्थियों को परीक्षा शुरू होने के 60 मिनट पूर्व परीक्षा केंद्र पर उपस्थित होना होगा। इन परीक्षाओं में भी अभ्यर्थियों को परीक्षा प्रारंभ होने के नियत समय से 60 मिनट पूर्व परीक्षा केंद्र पर उपस्थित होना होगा। इस अनुसार प्रथम प्रश्न-पत्र की परीक्षा के लिए प्रातः 8 बजे तक आवश्यक रूप से उपस्थित होना होगा एवं 8 बजकर 10 मिनट पर निर्धारित स्थान पर बैठना होगा। द्वितीय प्रश्न-पत्र की परीक्षा के लिए 1.30 बजे तक परीक्षा केंद्र पर उपस्थित एवं 1 बजकर 40 मिनट तक निर्धारित स्थान ग्रहण करना होगा। एडमिट कार्ड अपलोड करने के लिए यहां करें क्लिक ये है सब्जेक्ट व एग्जाम डेट…

देश के टॉप 10 मैनेजमेंट इंस्टीट्यूट:चौथी बार पहले नंबर पर IIM अहमदाबाद, 9वें नंबर पर XLRI जमशेदपुर, जानें एडमिशन प्रोसेस

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नेशनल इंस्टीट्यूशनल रैंकिंग फ्रेमवर्क (NIRF) ने 2024 के लिए टॉप मैनेजमेंट इंस्टीट्यूट्स की लिस्ट जारी कर दी है। इस बार लिस्ट में पहले नंबर पर IIM अहमदाबाद (IIM A) है। ये 2020 से हर साल लगातार पहले रैंक पर रहा है। वहीं, IIM बेंगलुरु दूसरे नंबर पर है। 1. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, अहमदाबाद (IIM-A)
इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट अहमदाबाद को देश में बेस्ट मैनेजमेंट इंस्टीट्यूट का दर्जा मिला है। IIMA से 15 अलग-अलग स्पेशलाइजेशन में ऑनलाइन MBA भी कर सकते हैं। कोर्सेज : इंस्टीट्यूट से रेगुलर 2 साल का पोस्ट ग्रेजुएट फुल टाइम MBA के अलावा एग्रीकल्चर बिजनेस मैनेजमेंट में MBA, MBA-PGPX यानी फुल टाइम MBA फॉर एग्जीक्यूटिव, ePGD-ABA यानी पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा इन एडवांस्ड बिजनेस, ऑनलाइन MBA और PhD जैसे कोर्सेज कर सकते हैं। वर्किंग प्रोफेशन्ल्स भी एग्जीक्यूटिव MBA के लिए अप्लाय कर सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : ग्रेजुएशन के बाद CAT के स्कोर के बेसिस पर एडमिशन ले सकते हैं। वहीं, विदेश में रहने वाले स्टूडेंट्स GMAT के बेसिस पर एडमिशन ले सकते हैं। 2. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, बेंगलुरु (IIM-B)
IIM-B में 11 अलग-अलग डिसिप्लिन में पढ़ाई होती है और 10 स्पेशल सेंटर ऑफ एक्सिलेंस हैं। इंस्टीट्यूट के नॉर्थ अमेरिका, साउथ अमेरिका, यूरोप, एशिया और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों के साथ स्टूडेंट एक्सचेंज प्रोग्राम में भी शामिल हो सकते हैं। कोर्सेज : IIM बेंगलुरु से दो सालों का रेगुलर MBA, 1 साल का फुल टाइम रेजिडेंशियल प्रोग्राम फॉर एक्सपीरियंसड प्रोफेश्ल्न्स (EPGP), वर्किंग प्रोफेशनल्स के लिए दो सालों का प्रोग्राम (PGPEM), पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन पब्लिक पॉलिसी एंड मैनेजमेंट, MBA (BA) यानी MBA इन बिजनेस एनालिटिक्स, सर्टिफिकेट कोर्सेज और 5 सालों की फुल टाइम PhD जैसे कोर्स कर सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : इन कोर्सेज में अंडर ग्रेजुएशन के बाद CAT, GMAT जैसे एग्जाम के स्कोर के बेसिस पर एडमिशन ले सकते हैं। CA, CS, ICWA जैसे कोर्स कर चुके स्टूडेंट्स बिना ग्रेजुएशन के भी ये एग्जाम दे सकते हैं। पर्सनल इंटरव्यू और ग्रुप डिस्कशन के बेसिस पर फाइनल सिलेक्शन होगा। वहीं, डिप्लोमा कोर्सेज के लिए IIMB टेस्ट देना जरूरी है। 3. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, कोझिकोड (IIM-K)
IIMK में दो सालों का रेगुलर MBA कोर्स कोच्चि कैंपस से कर सकते हैं। इसके अलावा इंस्टीट्यूट से फाइनेंस, एकाउंटिंग, कंट्रोल और IT, ह्यूमैनिटीज एंड लिबरल आर्ट्स, मार्केटिंग मैनेजमेंट, ऑर्गनाइजेशनल बिहेवियर एंड ह्युमन रिसोर्सेज, मार्केटिंग मैनेजमेंट, इकोनॉमिक्स जैसे सब्जेक्ट्स में भी पढ़ाई कर सकते हैं। कोर्सेज : IIMK से दो सालों का रेगुलर MBA कोर्स, एग्जीक्यूटिव पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम, PhD इन मैनेजमेंट, PGP-BL यानी पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन बिजनेस लीडरशिप, पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन लिबरल स्टडीज एंड मैनेजमेंट (PGP-LSM), PGP फाइनेंस जैसे कोर्सेज में एडमिशन ले सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : MBA कोर्सेज में एडमिशन के लिए CAT के सभी सेक्शन में नॉन जीरो यानी पॉजिटिव स्कोर होना जरूरी है। इसके अलावा ग्रेजुएशन में कम से कम 60% मार्क्स होने चाहिए। 4. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ इन्फॉर्मेशन टेक्नोलॉजी, दिल्ली (IIT-D)
IIT दिल्ली में डिपार्टमेंट ऑफ मैनेजमेंट स्टडीज में मैनेजमेंट कोर्सेज की पढ़ाई होती है। यहां एप्लाइड मैकेनिक्स, केमिकल इंजीनियरिंग, सिविल इंजीनियरिंग, डिजाइन जैसे 16 डिपार्टमेंट्स हैं। कोर्सेज : IIT दिल्ली में MBA फुल टाइम, MBA टेलीकॉम, एग्जीक्यूटिव MBA, डॉक्टरल PhD, MDP प्रोग्राम, माइनर एरिया प्रोग्राम्स जैसे कोर्सेज में एडमिशन ले सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : इन कोर्सेज में CAT एग्जाम, इंटरव्यू और ग्रुप डिस्कशन के बेसिस पर एडमिशन ले सकते हैं। 5. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, कोलकाता (IIM-C)
IIM-C एशिया के टॉप बिजनेस स्कूलों की लिस्ट में शामिल है। ये देश में मैनेजमेंट रिसर्च और पोस्ट ग्रेजुएट पढ़ाई के लिए बना पहला मैनेजमेंट इंस्टीट्यूट है। इंस्टीट्यूट में सेंटर फॉर कॉर्पोरेट गवर्नेंस, फाइनेंस लैब, IIM कलकत्ता केस रिसर्च सेंटर जैसे स्पेशलाइज्ड सेंटर भी हैं। कोर्सेज : इंस्टीट्यूट में दो सालों का रेगुलर फुल टाइम MBA, एक साल का एग्जीक्यूटिव MBA, पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा इन बिजनेस एनालिटिक्स (PGDBA), मास्टर्स इन इंटरनेशनल मैनेजमेंट, PGPEX-VLM यानी पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम फॉर एग्जीक्यूटिव फॉर विजनरी लीडरशिप और PhD जैसे कोर्स कर सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : इंस्टीट्यूट में CAT स्कोर, ग्रुप डिस्कशन और पर्सनल इंटरव्यू के बेसिस पर एडमिशन ले सकते हैं। 6. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, मुंबई (IIM-M)
IIM मुंबई को पहले नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इंडस्ट्रियल इंजीनियरिंग (NITIE) के नाम से जाना जाता था। IIM में 8 अलग-अलग डिसिप्लिन से रिलेटेड कोर्स कर सकते हैं। कोर्सेज : इंस्टीट्यूट से दो सालों का रेगुलर MBA, MBA (ऑपरेशन एंड सप्लाई चेन मैनेजमेंट), MBA सस्टेनेबिलीटी मैनेजमेंट, MBA ऑपरेशंस एंड सप्लाई चेन मैनेजमेंट, रेगुलर PhD प्रोग्राम, एग्जीक्यूटिव PhD प्रोग्राम, PG डिप्लोमा इन विजनरी लीडर्स (PGDex – VLFM) कोर्स के अलावा सर्टिफिकेट कोर्स भी कर सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : इंस्टीट्यूट में CAT, GMAT, GATE, GRE जैसे एग्जाम के स्कोर के बेसिस पर एडमिशन ले सकते हैं। 7. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, लखनऊ (IIM-L)
IIM लखनऊ में मैनेजमेंट से जुड़े शॉर्ट ड्यूरेशन ओपन प्रोग्राम, ब्लेंडेड प्रोग्राम, इंटरनेशनल प्रोग्राम में एनरोल होकर पढ़ाई कर सकते हैं। कोर्सेज: IIM लखनऊ से दो सालों का रेगुलर MBA आंत्रप्रेन्योरशिप एंड इनोवेशन, पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन मैनेजमेंट, पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन एग्रीबिजनेस मैनेजमेंट, पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन सस्टेनेबल मैनेजमेंट जैसे कोर्स कर सकते हैं। इसके अलावा एग्जीक्यूटिव प्रोग्राम के जरिए वर्किंग प्रोफेशन्ल्स मैनेजमेंट फॉर वर्किंग एग्जीक्यूटिव का कोर्स और इंटरनेशनल प्रोग्राम इन मैनेजमेंट फॉर एग्जीक्यूटिव जैसे कोर्स कर सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन: इन कोर्सेज में CAT या GMAT स्कोर के जरिए एडमिशन ले सकते हैं। CAT एंट्रेंस स्कोर के अलावा ग्रुप डिस्कशन और पर्सनल इंटरव्यू के बेसिस पर फाइनल सिलेक्शन होगा। 8. इंडियन इंस्टीट्यूटऑफ मैनेजमेंट, इंदौर (IIMI)
IIMI इंदौर में पोस्ट ग्रेजुएट कोर्सेज ऑफर किए जाते हैं। इसके दो साल का डिप्लोमा MBA कोर्स के बराबर है। कोर्सेज : IIM इंदौर से पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन मैनेजमेंट, एग्जीक्यूटिव पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन मैनेजमेंट, फाइव इयर इंटीग्रेटेड प्रोग्राम इन मैनेजमेंट, पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम इन ह्युमन रिसोर्सेज मैनेजमेंट, एग्जीक्यूटिव प्रोग्राम और PhD प्रोग्राम में एडमिशन ले सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : CAT या GMAT स्कोर के बेसिस पर शॉर्टलिस्ट होने के बाद स्क्रीनिंग, एनालिटिकल राइटिंग टेस्ट (AWT) और पर्सनल इंटरव्यू के बेसिस पर फाइनल सिलेक्शन होता है। 9. जेवियर स्कूल ऑफ मैनेजमेंट, जमशेदपुर (XLRI)
XLRI जमशेदपुर में देश के सबसे पुराने बिजनेस स्कूलों में से एक है। कोर्सेज : यहां से ह्यूमन रिसोर्स मैनेजमेंट, जनरल मैनेजमेंट और लॉजिस्टिक्स और सप्लाई चेन मैनेजमेंट जैसे कोर्सेज में पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा ऐसे मिलेगा एडमिशन : इन कोर्सेज में XAT एग्जाम के स्कोर और पर्सनल इंटरव्यू के बेसिस पर एडमिशन ले सकते हैं। 10. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी बॉम्बे- शैलेश जे मेहता स्कूल ऑफ मैनेजमेंट (SJMSOM), मुंबई
IIT बॉम्बे की स्थापना 1958 में हुई थी। कोर्सेज : यहां से दो सालों का MBA प्रोग्राम, एग्जीक्यूटिव प्रोग्राम, मैनेजमेंट डेवलपमेंट प्रोग्राम, रिसर्च प्रोग्राम, मैनेजमेंट डेवलपमेंट प्रोग्राम जैसे कोर्सेज में एडमिशन ले सकते हैं। ऐसे मिलेगा एडमिशन : CAT या GMAT एग्जाम के स्कोर के बेसिस पर इन कोर्सेज में एडमिशन ले सकते हैं।

भाला फेंकना सीखकर सास को भाला मारेगी क्‍या:लड़कियों को स्‍पोर्ट्स टूर्नामेंट लाई तो पेरेंट्स लड़ने आ गए; 80 बाल विवाह रोक चुकी हूं

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‘2014 की बात है। मैं अपने स्‍कूल की लड़कियों को लेकर डिस्ट्रिक्ट बैडमिंटन टूर्नामेंट में पहुंची थी। कुछ लड़‍कियां काफी अच्‍छा खेलती थीं, स्‍कूल में हमने प्रैक्टिस भी काफी की थी। लड़कियां मैच शुरू होने का इंतजार ही कर रही थी कि बाहर से लोगों के चिल्लाने की आवाज आने लगी। मैं बाहर पहुंची। कई लड़कियों के पेरेंट्स आए और मुझे घेर लिया। चिल्‍लाने लगे- हमारे घर की लड़कियां ये सब नहीं करतीं, किससे पूछकर इन्हें यहां लेकर आईं? हमने तो इन्हें पढ़ने के लिए भेजा था, हमसे पूछना तो चाहिए था कि हम बच्चियों को खिलवाना चाहते हैं भी कि नहीं। पेरेंट्स इतने ताव में थे कि मुझे लगा ये लोग किसी भी वक्त मेरे साथ मारपीट कर सकते हैं। मैंने तुरंत खेल अधिकारी और प्रशासन के दूसरे लोगों को वहां बुला लिया। उन्हीं लोगों ने भीड़ से मुझे बचाया। गेम सेंटर से ज्यादातर लोग अपनी बच्चियों को वापस घर ले गए और फिर कई दिन तक स्कूल नहीं भेजा।’ आज मास्साब के तीसरे एपिसोड में कहानी बिहार के मधुबनी की टीचर मीनाक्षी कुमारी की। इन्‍होंने अपने स्कूल की लड़कियों को न सिर्फ शिक्षित करने की बल्कि उन्हें आत्मनिर्भर बनाने की ठानी है। मीनाक्षी ने अपने स्‍कूल की लड़कियों के लिए पीरियड्स हाईजीन, बाल विवाह, रक्तदान, खेल-कूद जैसी कई मुहिम छेड़ी हैं जिसके लिए उन्‍हें शिक्षक दिवस पर नेशनल अवॉर्ड दिया गया है। ‘सास को भाला मारेगी क्‍या, जो भाला फेंकना सिखा रहीं हैं’
दैनिक भास्‍कर से बात करते हुए मीनाक्षी बताती हैं, ‘उस साल मुझे अपनी लड़कियों को लेकर वापस लौटना पड़ा। अगले दिन से ही मैंने लड़कियों के घर जाकर उनके पेरेंट्स से बात करनी शुरू की। कुछ ने तो दरवाजे से ही लौटा दिया, मगर कुछ को बात समझ आई। स्‍कूल में फिर लड़कियों की प्रैक्टिस शुरू हुई। मेरी एक स्‍टूडेंट गुड़‍िया जैवलिन थ्रो (भाला फेंक) में काफी अच्‍छी थी। उसकी मां घरों में झाडू-पोंछे का काम करती थी। जब गुड़‍िया ने डिस्ट्रिक्‍ट लेवल पर गोल्‍ड जीता तो स्‍कूल में हम बहुत खुश हुए। उसे आगे स्‍टेट लेवल भेजने की तैयारी में लग गई। अगले दिन वो स्‍कूल ही नहीं आई। मैं समझ गई कि कुछ गड़बड़ है। गुड़‍िया के घर पहुंची तो उसकी मां ने उसे आगे खिलाने से साफ मना कर दिया। मुझसे बोलीं, ‘हमारी बच्‍ची नहीं खेलेगी, हमें कहीं नहीं भेजना। पहले आपने कहा कि पढ़ाना चाहिए, अब उसको खेल में उतार रही हो। बच्‍ची की शादी कैसे होगी। बच्‍ची ससुराल जाकर सास को भाला मारेगी क्‍या, जो उसे भाला फेंकना सिखा रही हो।’ बहुत समझाने पर भी वो नहीं मानीं। मैंने फिर भी गुड़‍िया को स्‍टेट लेवल गेम में भेज दिया। बच्‍ची ने स्‍टेट में भी गोल्‍ड जीता और नेशनल के लिए भी सिलेक्‍ट हुई। बच्‍ची के पिता दिल्‍ली में किसी के घर खाना बनाने का काम करते हैं। स्‍टेट में गोल्‍ड जीतने के बाद जब मीडिया वाले उनसे मिलने पहुंचे तो उन्‍हें मेडल की कीमत समझ आई।’ ‘हमारी बच्ची को भी सिखाइये, हमें भी अखबार में आना है’
मीनाक्षी बताती हैं, ‘अब मेरी बच्चियां कबड्डी, टेबल टेनिस में नेशनल लेवल तक खेलती हैं। एथलेटिक्स में जैवलिन थ्रो, शॉट पुट या डिस्कस में पिछले 10 सालों से मेरी बच्चियां हर साल नेशनल जाती हैं। मैं फिजिकल टीचर नहीं हूं लेकिन इन गेम्स के लिए ट्रेनिंग ली है, तो मैं खुद ही बच्चों को इसके बारे में बताती हूं। यूट्यूब देखकर सीखती हूं, फिर सिखाती हूं। ज्‍यादातर बच्‍चों के माता-पिता किसी के घर में बर्तन धोते हैं या किसी के यहां मजदूरी करते हैं। पहले उन्हें मनाने में बहुत मशक्कत करनी पड़ती थी। लेकिन अब पेरेंट्स और बच्चियां खुद मेरे पास आते हैं कि हमारी बच्ची को आप खेल में आगे बढ़ाइए, हमें भी अखबार में आना है। अब वो देखते हैं कि उन्हीं के पड़ोस की लड़की किसी गेम में गोल्ड जीत कर लाई है तो मोटीवेट होते हैं। ‘लड़कियां बदनामी कराती हैं, इसलिए जल्दी शादी करते हैं’
बात 2014 की है। मैं हर दिन क्लास में अटेंडेंस लेती थी, तो पता चलता था आए दिन लड़कियां कम होती जा रही हैं। दूसरी लड़कियों से पूछा कि फलां क्यूं नहीं आई, तो लड़कियां बताती कि उसकी तो शादी हो गई है। एक बच्‍ची पढ़ाई में तेज थी। अचानक स्‍कूल आना बंद कर दिया तो पता चला उसकी शादी हो गई है। मैं उसके माता-पिता से मिलने पहुंची। उसकी मां ने कहा, ‘शादी की तो उम्र ही थी। इस टाइम लड़कियां प्‍यार-मोहब्‍बत के चक्‍कर में पड़ जाती हैं तो बदनामी होती है। समय से शादी करा देना बहुत जरूरी है।’ एक दूसरी बच्‍ची की मां ने मुझसे कहा कि जवान लड़कियों के साथ छेड़खानी हो जाती है, तो भी बदनामी लड़की की ही होती है। इसलिए जल्‍दी ही शादी कर देते हैं। तब मैंने लड़कियों और उनके पेरेंट्स दोनों को समझाना शुरू किया। पहले लड़कियों को समझाया कि इस समय पढ़ाई ज्यादा जरूरी है। प्यार मोहब्बत के लिए पूरी उम्र पड़ी है। फिर पेरेंट्स को भी समझाया कि बच्‍चियों को अभी पढ़ने दें। बाल विवाह रोकती हूं तो पेरेंट्स पूरा रिस्क मेरे ऊपर डाल देते हैं। कहते हैं- कल को कोई भी ऊंच नीच हुई तो आपकी जिम्मेदारी होगी। मैं कहती हूं ठीक है आप मेरे ऊपर छोड़ दीजिए, देख लूंगी। बीते 5 सालों में 70-80 बाल विवाह रोक चुकी हूं। अब किसी बच्‍ची की शादी की बात भी चलती है तो वो खुद आकर मुझे बता देती हैं। मैं पेरेंट्स के पास जाती हूं, उन्हें पहले प्यार से समझाती हूं। नहीं मानते हैं तो कहती हूं कि देखिए हेल्पलाइन नंबर भी है मेरे पास, पुलिस का नंबर भी है और मीडिया वालों को भी बुला सकती हूं। प्यार से मान लीजिए वर्ना FIR करा दूंगी। पीरियड्स हाईजीन पढ़ाती हूं तो पेरेंट्स बेशरम कहते हैं
क्‍लास की अटेंडेंस लेते हुए ही मुझे समझ आया कि लड़कियां पीरियड्स के चलते भी कई-कई दिन स्‍कूल नहीं आतीं। सिर्फ इतना ही नहीं, बच्चियों में पीरियड्स हाईजीन की भी बड़ी कमी थी। इसलिए मैंने सबसे पहले तो स्‍कूल में सैनिटरी नैपकिन मशीन लगवाई। आस-पास के स्‍कूलों में भी नैपकिन मशीन लगवाईं। इसके लिए स्‍टेट बैंक ऑफ इंडिया से डोनेशन लिया। बच्चियों को इस दौरान साफ-सफाई रखने की क्‍लास दीं। कई लड़कियां इस बारे में बात करने में भी हिचकती थीं। मैंने समझाया कि जब लड़के दाढ़ी-मूंछ आने पर नहीं शरमाते तो हम क्‍यों शरमाते हैं। इस पर भी एक बार एक बच्‍ची की मां मुझसे मिलने स्‍कूल आईं। कहती हैं, ‘क्या मैडम आप मेरी बेटी को ये क्या सिखा रहीं हैं। वो अपने पापा से भी पीरियड्स के बारे में बात करती हैं। एकदम बेशरम बना रही हैं।’
मैंने उन्हें समझाया- आप बताएं कि जब आप घर में नहीं रहेंगी तब आपकी बेटी अपनी समस्या किससे कहेगी। या बेटी को मरने के लिए छोड़ देंगी क्या। ऐसे में अपने पिता, भाई को नहीं बताएगी तो किसको बताएगी। लेकिन ये आसान काम नहीं है। इस दौरान धमकियां भी मिलती हैं कि आप मेरे बच्चों को बर्बाद कर रही हैं, आपको छोड़ेंगे नहीं, देख लेंगे। पेरेंट्स को लगता है कि बच्चे उनके खिलाफ हो रहे हैं, तो मैं कहती हूं कि नहीं बच्चे अपने बारे में सोच रहे हैं। कोरोना काल में शुरू किया- खुद पढ़ो, औरों को भी पढ़ाओ
कोरोना काल में मैंने ‘खुद भी पढ़ो, औरों को भी पढ़ाओ’ अभियान शुरू किया। इसके तहत जो बच्चियां क्लास अटेंड करती थी उन्हें ही आसपास की दूसरी बच्चियों को पढ़ाने की जिम्मेदारी दी। लॉकडाउन के बाद जो बच्चियां स्कूल पढ़ने नहीं आईं या जिनका कहीं एडमिशन नहीं हुआ था, उनकी जानकारी दूसरी बच्‍चयिों से इकट्ठा की। इसके बाद स्कूल की टीचर्स ने घर-घर जाकर बच्चियों का एडमिशन कराया और उन्हें स्कूल लाने का काम किया। आज स्‍कूल में 1457 बच्चियां हैं। सीरीज के बाकी एपिसोड भी देखें
एपिसोड 1 – गांव की दीवारों को ब्‍लैकबोर्ड बनाया, चौराहों को क्‍लासरूम: अटेंडेंस के लिए पेरेंट्स को सम्‍मानित करते हैं माधव सर मध्‍य प्रदेश के दमोह जिले के लिधौरा गांव में हर चौराहे पर बच्‍चे पढ़ते हुए दिखाई देते हैं। किसी भी गली में घुस जाओ तो गली के आखिर में किसी दीवार पर गणित, साइंस के फॉर्मूले लिखे दिखेंगे। बच्‍चे घूमते-फिरते, दौड़ लगाते हुए इन्‍हें पढ़ा करते हैं। गली से गुजरता कोई शख्‍स बच्‍चों को रोकता और दीवार पर लिखा पढ़कर सुनाने को कहता है। बच्‍चे नहीं पढ़ पाते तो उन्‍हें बताता है। पूरा का पूरा गांव ही जैसे क्‍लासरूम बन गया है। पूरी खबर पढ़ें… एपिसोड 2 – 5वीं के बच्‍चों के ऑनलाइन एग्जाम, VR हेडसेट से लर्निंग: कभी फूस के छप्‍पर में बैठते थे, आज स्‍मार्ट TV से पढ़ते हैं बच्‍चे बिहार के कैमूर जिले के एक छोटे से गांव तरहनी में एक ऐसा स्कूल है, जहां बच्‍चे क्‍लासरूम में ही दुनियाभर के जानवरों से भरा जू यानी चिड़‍ियाघर घूम आते हैं। पूरे सोलर सिस्‍टम की सैर करते हैं और भागकर चांद को पकड़ लेते हैं। पूरी खबर पढ़ें…